Aishwarya Mohan Gahrana

Aishwarya Mohan Gahrana's Gahrana

स्वान्त सुखाय, सर्व जन
हिताय कुछ भी..

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मुर्दा ख़यालात

Updated 5 Years Ago

मुर्दा ख़यालात
तड़पते हुए पीले पन्नों पर उबलती सुर्ख़ स्याही का दरिया न बाँध; सुन, मेरे मुर्दा ख़यालात में गुलज़ार का आना जाना हो जायेगा|   नीले रंग का समंदर को यूँ आसमां में न उलीच उँगलियों से; सुन, सलमा सितारो…
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